शासन की भूल से असुरक्षित हुआ शिक्षकों का भविष्य, स्कूल आवंटन में देरी से छिन गई हजारों शिक्षकों की पुरानी पेंशन

शासन की भूल से असुरक्षित हुआ शिक्षकों का भविष्य, स्कूल आवंटन में देरी से छिन गई हजारों शिक्षकों की पुरानी पेंशन
विशिष्ट बीटीसी 2004 की पुरानी पेंशन के मुद्दे को लेकर केंद्रीय राज्यमंत्री से शिक्षकों लगाई फरियाद
हमारा व्हाट्सएप ग्रुप जॉइन करने के लिए यहाँ क्लिक करें ।
https://chat.whatsapp.com/GHnVuSXaO4H1PswXAcgCyP
🥎🥎 *|| five vegetables name by inaya || Fun With Inaya ||*
शिक्षक-शिक्षिकाओं को केंद्र के समान नयी या पुरानी पेंशन योजना को चुनने का मिले अवसर

Old pension system for sbtc 2004 batch
दिल्ली/गाजियाबाद। पुरानी पेंशन बहाली को लेकर पहले से ही परेशान लाखों शिक्षक अपनी मांगों को लेकर पिछले कई वर्षों से संघर्ष करने को मजबूर है। वहीं इस बीच विशिष्ट बीटीसी शिक्षकों की सूची भी पुरानी पेंशन बहाल की लिस्ट में शामिल हो गई है। प्रदेश में ऐसे शिक्षक बड़ी संख्या में हैं, जो अप्रैल 2005 के पहले चयनित हुए, लेकिन वे भी पुरानी पेंशन के हकदार नहीं हैं। प्राथमिक स्कूलों में 46 हजार विशिष्ट बीटीसी शिक्षकों के हाथ से पुरानी पेंशन सिर्फ इसलिए फिसल गई, क्योंकि विभाग ने उनका स्कूल आवंटन तय समय में नहीं किया था। गलती विभाग की और हर्जाना शिक्षकों को भरना पड़ रहा है। विशिष्ट बीटीसी शिक्षकों के हक की लड़ाई को अपनी लड़ाई में शामिल करते हुए उत्तर प्रदेश प्राथमिक शिक्षक संघ के प्रांतीय उपाध्यक्ष डॉ अनुज त्यागी के नेतृत्व में मंगलवार को शिक्षक प्रतिनिधि मंडल ने दिल्ली आवास पर केंद्रीय राज्यमंत्री जनरल वीके सिंह से मुलाकात कर अपनी समस्या से अवगत कराया। हालांकि यह ज्ञापन केंद्रीय राज्यमंत्री को पहली बार नही दिया गया है। इससे पूर्व भीकेंद्रीय मंत्री को ज्ञापन देकर शिक्षक संघ ने पुरानी पेंशन की बहाल की मांग उठाई है। उत्तर प्रदेश और दिल्ली में भाजपा की सरकार है, फिर शिक्षकों को उनका हक देने से सरकार कतरा रही है। पर डॉ अनुज त्यागी ने बताया कि परिषदीय विद्यालयों में 46189 पदों पर बीएड, एलटी योग्यता धारी अभ्यार्थियों को परिषदीय विद्यालयों में सहायक अध्यापक के पद पर चयनित किया गया। जिसके क्रम में चयनित अभ्यर्थियों को विशिष्ट बीटीसी प्रशिक्षण 2004 प्रदेश के समस्त जिला शिक्षण एवं प्रशिक्षण संस्थानों में दो अगस्त 2004 से प्रारंभ किया गया। प्रशिक्षण अवधि में 2500 प्रतिमाह छात्रवृत्ति (स्टाइपेंड) भुगतान किया गया। केंद्र सरकार द्वारा एक जनवरी 2004 को नेशनल पेंशन सिस्टम लागू किया गया। जिसे उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा एक अप्रैल 2005 से प्रदेश में लागू किया गया परंतु केंद्र सरकार द्वारा ऐसे अभ्यर्थी जिनकी नियुक्तियान, नियुक्ति पूर्व प्रशिक्षण के लिए चयन प्रक्रिया नेशनल पेंशन सिस्टम जारी होने की तिथि 1 जनवरी 2004 के पूर्व हो गई थी तथा उनकी नियुक्ति नेशनल पेंशन सिस्टम लागू होने के पश्चात हुई थी को नई पुरानी पेंशन योजना में से एक का विकल्प चुनने के लिए विभिन्न तिथियों क्रम से 5 मार्च 2008, 17 फरवरी 2020, 25 जून 2020, 31 मार्च 2021 को कार्यालय ज्ञाप (मेमोरेंडम) जारी करके अवसर प्रदान किया गया।
मगर उत्तर प्रदेश सरकार जो अपने यहां केंद्र के समान समस्त नीतियों को लागू करने के लिए आदेश जारी करती है, आज तक उत्तर प्रदेश में केंद्र के उपरोक्त मेमोरेंडम को जारी नहीं किया गया। जिसकी वजह से एक अप्रैल 2005 (जब उत्तर प्रदेश सरकार ने एनपीएस लागू किया) के पूर्व परिषदीय विद्यालय में सहायक अध्यापक के लिए चयनित विशिष्ट बीटीसी 2004 के शिक्षक-शिक्षिकाओं को केंद्र के समान नई या पुरानी पेंशन योजना में सम्मिलित होने के विकल्प को चुनने अवसर आज तक नहीं मिला है। जिसको लेकर शिक्षक प्रतिनिधिमंडल ने केंद्रीय राज्य मंत्री जनरल वीके सिंह को ज्ञापन सौंपा तथा उनसे अनुरोध किया कि उत्तर प्रदेश राज्य में भी उपरोक्त केंद्र के समान मेमोरेंडम जारी कराते हुए विशिष्ट बीटीसी 2004 के चयनित शिक्षकों शिक्षिकाओं को पुरानी पेंशन योजना को चुनने का अवसर प्रदान किया जाए। इस मौके पर प्रांतीव उपाध्यक्ष डॉ अनुज त्यागी, वरिष्ठ उपाध्यक्ष आदेश मित्तल, उपाध्यक्ष अमित कुमार एवम शैक्षिक महासंघ के जिला महामंत्री कनक सिंह त्यागी भी उपस्थित रहे।
You must log in to post a comment.